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P.K. Srivastava's avatar

तुम लिखती हो, तुम्हें लिखना चाहिए, तुम कुछ कहती हो हमें सुनना चाहिए, मत रोको विचारों को ख्यालों को,जो भी करना चाहो करो,क्योंकि मन सच्चा बस उसकी सुनना चाहिए।।

अशेष शुभकामनाएं

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Vijay pandey's avatar

जीवन में सफलता और संतुष्टि दोनों समान रूप से जरूरी है ! दोनों ही गतिशील हैं और स्वतः के संज्ञान से सदैव अग्रसर करते हैं और अंतहीन हैं। संतुष्टि कभी भी तृप्त नहीं होना चाहिए नहीं तो सफलता स्थिर हो जड़ हो जाती है। निरंतर दौड़ ही सीमित संतुष्टि का साधन होना चाहिए । उच्चतम सफलता के लिए एक ध्येय होना चाहिए - केवल एक ! जिसमे आप अपनी पूरी क्षमता से सज़ हो सकते हैं ।

पसंद की बहुत सी चीजें बिखरी हैं - कई ऐसी हैं जिनसे दूर से ही आनंद प्राप्त करते रहना उचित है और कुछ को अंगीकार करना श्रेष्ठ है ताकि आनंदित रहें ! आप सौभाग्य शाली हो कि बहुमुखी प्रतिभा के धनी हो और कई विधाओं में सर्वश्रेष्ठ कर सकते हो , परन्तु कई क्षेत्रों में अधिक बिखरना नहीं है - कम क्षेत्र में ही सुगंधी बिखेरना है ! चुनाव रुचि का हो , विषय पसंद का हो और जो भी करो - पूरे मन से !! You have to feel that you are The Great!

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